Mahabharat : श्रीकृष्ण के बेटे ने भरी सभा से दुर्योधन की बेटी का कर लिया अपहरण, जानिए क्या थी वजह ?

Priyanka Sharma

Mahabharat : पौराणिक कथाओं के मुताबिक श्रीकृष्ण ने अपने बेटे की शादी दुर्योधन की बेटी से करा दी थी। जबकि श्रीकृष्ण और दुर्योधन महाभारत में एक-दूसरे के दुश्मन थें। भगवान श्रीकृष्ण को दुर्योधन बिल्कुल पसंद नहीं करता था क्योंकि कृष्ण पांडवों के हितैषी थें। और इसलिए दुर्योधन कृष्ण को नापसंद करता था। भगवान श्रीकृष्ण भी दुर्योधन को धर्म और शांति के मार्ग का सबसे बड़ा अवरोध मानते थे। वह भी दुर्योधन के पूरी तरह से खिलाफ थे।

इसके बाद भी श्रीकृष्ण ने अपने पुत्र की शादी दुर्योधन की पुत्री से करवाया। ताकि दोनों बच्चों का प्रेम मिले और वह सुखी जीवन जी सके। भगवान श्रीकृष्ण के पुत्र का नाम सांब था और दुर्योधन की पुत्री का नाम लक्ष्मणा था। सांब और लक्ष्मणा एक-दूसरे से प्रेम करते थे। दुर्योधन दोनों के प्रेम के खिलाफ थे। इसलिए उन्होंने लक्ष्मणा के स्वयंवर का आयोजन किया। लेकिन उसमें यादवों को आमंत्रित नहीं किया। जब लक्ष्मणा के प्रेमी सांब को स्वयंवर के बात का पता चला तो वह लक्ष्मणा को भरी सभा से ले कर चले गए।

 

जब सांब लक्ष्मणा का अपहरण करके ले गए तो दुर्योधन ने सेना के साथ सांब का पीछा किया और पकड़कर बंदी बना दिया। तभी बलराम वहां पहुंचे और उन्होंने सांब और लक्ष्मणा की शादी के लिए दुर्योधन को खूब मनाने की कोशिश की। लेकिन दुर्योधन नहीं माना। इसके बाद भगवान श्रीकृष्ण वहां पहुंचे। उन्होंने दुर्योधन और कौरवों को समझाया कि हमारी आपसी लड़ाई अलग है और बच्चों का प्रेम अलग है।

 

भगवान श्रीकृष्ण ने दुर्योधन से कहा कि अगर ये दोनों साथ रहना चाहते हैं तो हमें अपनी दुश्मनी को भुलाकर इनके प्रेम का सम्मान करना चाहिए। हमारी आपसी दुश्मनी का दुष्प्रभाव इनके प्रेम पर नहीं पड़ना चाहिए। श्रीकृष्ण की बातें मानकर दुर्योधन ने लक्ष्मणा का विवाह सांब से करवा दिया।

 


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